जानिये: एकादशी निर्जला व्रत का महत्व...
By: Team Aapkisaheli | Posted: 05 Jun, 2017
हिंदू धर्म में एकादशी का व्रत महत्वपूर्ण स्थान रखता है। प्रत्येक वर्ष चौबीस एकादर्शियां होती हैं। जब अधिकमास या मलमास आता है तब इनकी संख्या बढकर 26 हो जाती है। ज्येष्ठ मास की शुक्ल पक्ष की एकादशी को निर्जला एकादशी कहते है इस व्रत में पानी का पीना वर्जित है इसलिये इस निर्जला एकादशी कहते हैं।
निर्जला एकादशी ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष में आती है। इस व्रत को अधिकतर महिलाएं ही रखती है। यह व्रत एकादशी को सूर्योदय से लेकर द्वादशी के सूर्योदय तक करीब 24 घंटे की अवधि तक रखा जाता है। व्रत के दौरान व्रती केवल एक बार ही पानी ग्रहण करते हैं। इसलिए इसे निर्जला एकादशी कहा जाता है। इस निर्जला एकादशी को भीमा या भीम एकादशी के नाम से भी पुकारा जाता है।